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Saturday, May 31, 2008

.....क्या करे बेचारे न्यूज चैनल ?

मैने अभी - अभी आशीस कुमार ’अन्शु ’ की रिपोर्ट देखी तो मै भी इस बारे मे कुछ कहने से अपने को नही रोक पाई । गनीमत है कि ये कमिश्नर साहेब का कुत्ता था वरना ये न्यूज चैनल वाले क्या - क्या दिखा दे खा नही जा सकता ।दरअसल आज न्यूज चैनलो की भरमार है , आए दिन नए - नए न्यूज चैनल मार्केट मे आ रहे है जिससे इनमे कम्पटीशन होना लाजिमी है और इसी के चलते इनमे होड. लगी रहती है कि कौन सबसे पहले ब्रेकिन्ग न्यूज देता है ।अब ब्रेकिन्ग न्यूज कुत्ते की हो या कोई अन्य ? हालान्कि आज न्यूज चैनलो ने घूसखोरी , भ्र्स्टाचार , सरकारी दफ्तरो मे कामकाज का न होना आदि मुद्दो को लाइव दिखाकर एक नई क्रान्ति ला दी है । मगर कभी - कभी एक खबर को सुबह से शाम तक खीचना खल जाता है ।

Saturday, May 17, 2008

वाह री किस्मत

सचमुच इसे किस्मत का खेल कहिए या भगवान की महिमा ! खैर जो भी कहिए मगर यह बात सोलह आने सच है कि भगवान जब देता है तो छ्प्पर फाड कर देता है ! किसी के पास सर छुपाने तक की जगह नही है और किसी के पास इतनी जगह कि उसके पास रहने वाले प्राणी नही है ? अब रिलायन्स इण्डस्ट्रीज के मालिक मुकेश अम्बानी को ही ले लीजिए , वे अपने परिवार ( अम्बानी सहित कुल ५ सदस्य ) के लिए ८० अरब की लागत से एक शीशमहल मुम्बई के मालाबार हिल के अल्टामाउन्ड रोड पर बनवा रहे है । अम्बानी का यह शीशमहल दुनिया की सबसे महन्गी और आलीशान बिल्डिन्गो मे गिना जाएगा । चार लाख वर्ग फीट मे फैले इस आलीशान शीशमहल की ऊन्चाई ५५० फीट होगी तथा यह २७ माले वाला शीशमहल होगा । अम्बानी का यह आशियाना सभी सुख सुविधाओ से ही लैस नही होगा बल्कि इस आशियाने मे हीरे - जवाहरात व सोना - चान्दी भी लगवाया गया है ।

Friday, May 16, 2008

चलो कांस ही सही

सुनकर अटपटा जरूर लगता है मगर क्या करें ये काम का बोझ है की बच्चन परिवार के सदस्यों को आपस मैं मिले हफ्तों गुजर जाते हैं कहते हैं काम के सिलसिले मैं परिवार के सभी सदस्य अलग - अलग शहरों मैं व्यस्त रहते हैं इन दिनों बिग बी अपने ब्लॉग मैं इस तरह उलझे हुए हैं की उन्हें ब्लॉग के अलावा फिलहाल कुछ और सूझ ही नहीं रहा है भला हो इस कांस फेस्टिवल का जो कम से कम किसी परिवार को एक साथ बैठने का अवसर दे रहा है एश्वर्या राय बच्चन इस फेस्टिवल मैं लोरियल कम्पनी की ब्रान्द्द एम्बेसडर की हैसियत से मौजूद रहेंगी

अब व्यस्त रहना स्वास्थ्य के लिए लाभदायक

आम तौर पर यह माना जाता है की ज्यादा व्यस्त रहना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है किंतु हाल ही मैं जर्मनी मैं हुए एक अध्ययन के अनुसार काम की ज्यादा से ज्यादा व्यस्तता हम सबकी सेहत के लिए लाभप्रद है अध्ययन रिपोर्ट के अनुसार जो लोग चुनौतीपूर्ण काम करते हैं तथा अपने दिमाग को काम मैं ज्यादा से ज्यादा प्रयोग मैं लाते हैं उन्हें दीमेंशिया नामक बीमारी नहीं होती और उनका स्वास्थ्य भी काफी अच्छा रहता है जबकि इसके विपरीत पाया गया की काम मैं व्यस्त न रहने वाले लोग दीमेंशिया के शिकार हो रहे हैं इसलिए ध्यान रखें की अपने दिमाग को काम मैं व्यस्त और ज्यादा से ज्यादा सक्रिय रखें

जयपुर मैं सीरियल धमाके

जयपुर मैं हुए सीरियल धमाकों को अब दो दिन हो गए हैं , आम जनजीवन भी धीरे - धीरे सामान्य होने लगा है ,लेकिन इन धमाकों ने एक बार फिर हमारे दिलों को दहला कर रख दिया है मजबूत सुरक्छा तंत्र के बीच होने वाली इन वारदातों से हमें भी एक बार फिर से सोचने को मजबूर होना पढ़ रहा है कीहम सुरक्चित कहाँ है ? दुख की बात तो यह है की जिसने इसी वारदातें करनी होती हैं वे तो वारदातें करके पतली गली से निकल जाते हैं और हाथ पर हाथ धरे रह जाते हैं या फिर पिछली अन्य घटनाओं की तरह लकीर पीटते ही रह जाते हैं

अदालती फैसलों पर आधारित टी वी धारावाहिक भावंदर

प्रभावपूर्ण और सच्ची व सूचनात्मक जानकारी प्रदान कराने के वादे के साथ आई बी एन ७ जल्दी ही अदालतों के फैसले पर आधारित धारावाहिक भावंधर लेकर दर्शकों के बीच आ रहा है हर सप्ताह प्रसारित होने वाले इस धारावाहिक मैं ऐसे सामाजिक और न्यायिक विषयों को दिखाया जायेगा जो हमें आज भी प्रभावित करते हैं इसमें पैसलों को नाटक का रूप देकर प्रस्तुत कराने का प्रयास किया गया है जिससे दर्शक घटना के घटने और केस के अदालत मैं चलने का अनुमान लगा सकेगा इसके माध्यम से लोग न्यायपालिका को समझ सकेंगे इन धटनाओं के जरिये समाज मैं फैली विसंगतियों पर भी प्रकाश डाला जा सकेगा किसी समाचार चैनल पर यह अपने किस्म का पहला धारावाहिक होगा
सचमुच आई बी एन ७ का न्याय और न्यायालय के प्रति हमारी व आपकी सोच को बदलने का जो प्रयास कर रहा है इसमें उसे कितनी सफलता मिलाती है यह ततो भविष्य के गर्त मैं है ? फिलहाल हम इनके प्रयास की सराहना अवश्य कर सकते हैं यह धारावाहिक आपको जल्दी ही दिखायी देने लगेगा

Monday, May 12, 2008

अब अल्ट्रा लो कट जींस

पिछले दिनों मैंने एक अख़बार में पढ़ा कि अब यंग गर्ल्स के लिए अल्ट्रा लो कट जींस के नाम से एक और फेशनेबल जींस तैयार किई गई है इसे बनाने वाले डिजायनर ने यह भी कहा है कि जो लो वेस्ट जींस में और ज्यादा एक्सपोजर तथा ग्लैमर कि चाह रखती हैं उन्हें यह जींस बहुत पसंद आयेगी समझ में नहीं आता कि लो वेस्ट जींस क्या कम एक्सपोज कर रही थीं यंग गर्ल्स को ? अभी तो हम लो वेस्ट जींस से ही तौबा नही कर पाये थे कि अब ये ........................... फेशन डिजायनर सांद्रा तानीमुरा की यह जींस जापान में तो बिकनी के नम से फेमस हो गई है और यूके में यह अपना जलवा बिखेरने को तैयार है बहरहाल यूके - जापान में क्या हो रहा है उस पर में कोई टिप्पणी नहीं करती लेकिन जब बात हो अपने भारत देश की तो चुप नहीं रहा जाता भले ही हम इक्कीसवीं सदी में पहुँचने के लिए स्वयम को एडवांस बनने में जोर शोर से लगे हैं मगर इस तरह ...........नंग्पने के साथ नहीं ! हमें कोशिश करनी चाहिए कि इस नंगयी को अपने देश में न घुसने दें , इसका पुरजोर विरोध करें अन्यथा हम सब समझ सकते हैं कि कैसा होगा हमारा देश , हमारा समाज व वातावरण ?चारों ओर सिवाय ...............................के ............और कुछ नहीं होगा ?